सोमवार, 14 जनवरी 2019

आज का विचार 


जो दूसरों की भलाई करता है, वह अपनी भलाई अपने-आप कर लेता है। भलाई फल में नहीं, अपितु कर्म करने में ही है; क्योंकि शुभ कर्म करने का भाव ही अच्छा पुरस्कार है।

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